बसनही पुलिस फिर एक बार सवालों के घेरे में।

राज आर्यन गुड्डू@न्यूज । महुआ बाजार।सहरसा

बसनही थाना पुलिस प्राथमिकी दर्ज करने व दर्ज प्राथमिकी पर कार्यवाही हेतु अलग अलग सेवा शुल्क की वसूली करने के कारनामे करती नजर आ आई हैं।एक वायरल आँडियो मे बसनही थाना के सअनि सरोज ठाकुर द्वारा बड़सम गांव की वादी रेखा देवी से दर्ज प्राथमिकी मे नामजदों को सजा दिलवाने के लिए 15 हजार की राशि मांगते सुना जा सकता है।जिसमें सरोज ठाकुर का कहना है कि मै अपने वेतन की राशि से अभियुक्त को कैसे सजा दिलवा सकता हूँ इसलिए आप मुझे 15 हजार रुपए दिजिए।वायरल आँडियो पर जब पीडिता बडसम निवासी मुकेश यादव की पत्नी रेखा देवी से विजुअली बात की गई तो उसने स्पष्ट बताया कि पडोसियों द्वारा उसकी पुत्री से मारपीट की गई तो उसके आवेदन पर बसनही थाना द्वारा टालमटोल किया गया।तब उसके द्वारा दो किश्तों में सअनि सरोज ठाकुर को क्रमशः 3 एवं 5 हजार राशि दी गई।प्राथमिकी दर्ज होने के बाद केस के आइओ सरोज ठाकुर द्वारा नामजदों को सजा दिलाने के लिए पुनः 15 हजार की राशि की मांग की गई।इस तरह की घटना ने ये साबित कर दिया है कि बसनही थाना मे बिना सेवा शुल्क के न्याय के गुहार लगाना व्यर्थ है।
उपरोक्त मामले को क्रमबद्ध देखे तो बड़सम निवासी रेखा देवी ने पिछले 10 जून को गांव के ही कुछ लोगों के विरुद्ध अपने बेटी के साथ घर में घुस कर अभद्र व्यवहार व मारपीट करने की प्राथमिकी दर्ज करवाई थी।हालांकि पीड़िता रेखा देवी ने घटना के ही दिन अर्थात 7 जून को ही बसनही थानाध्यक्ष को आवेदन देकर प्राथमिकी दर्ज करने की गुहार लगाई थी।उपलब्ध आवेदन पर बसनही थानाध्यक्ष ने मामले की जांच हेतु सअनि सरोज ठाकुर को पिडिता के घर भेजा।लेकिन आरोपियों के विरुद्ध प्राथमिकी दर्ज नही किया गया। 9 जून पीड़िता रेखा देवी से आईओ सरोज ठाकुर द्वारा कुल 8 हजार रुपये सेवा शुल्क लेने के बाद 10 जून को प्राथमिकी दर्ज किया जा सका।जिससे बसनही पुलिस महकमे एक बार फिर प्रश्नचिन्ह लग गया है।उक्त बाबत बसनही थानाध्यक्ष मनोज कुमार सिंह ने बताया कि इस मामले की कोई भी जानकारी नही है। updated by gaurav gupta

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