नई दिल्ली । इलाके में महिलाओ की चोटी कटने के लगातार मामले सामने आ रहे हैं। दो दिन में बेगमपुर, मंगोलपुरी व रोहिणी इलाके में पांच महिलाओं ने अपनी चोटी कटने की शिकायत पुलिस से की है। पुलिस उनके बयान के आधार पर मामले की जांच कर रही है, लेकिन अब तक इस रहस्यमय घटनाओं की गुत्थी नहीं सुलझ सकी है।

बेगमपुर इलाके में अब चार महिलाओं की चोटी काटी जा चुकी हैं। पीड़ित गुड्डी ने बताया कि वह सुबह जगने के बाद रसोई घर में चाय बनाने गई थी। तभी उसे चक्कर आने लगा और वह गिर पड़ी। कुछ देर के बाद जब उसे होश आया तो पति ने बताया कि उसकी चोटी कट चुकी है।

इसी तरह से सुनीता ने भी बताया कि वह बृहस्पतिवार की रात रसोई में दूध गर्म करने गई थी और अचानक चक्कर आने पर गिर पड़ी। जब उसे होश आया तो उसने खुद को अस्पताल में पाया और परिजनों ने बताया कि उसकी चोटी कट चुकी है।

ऐसा ही हादसा शुक्रवार को एक अन्य महिला के साथ हुआ। महिला भी अस्पताल में भर्ती है। इसके पूर्व बुधवार रात बेगमपुर गांव में ही नीता की चोटी कट चुकी है, जबकि बृहस्पतिवार को ही प्रशांत विहार इलाके में घरेलू सहायिका फूलवती की भी चोटी कटी थी।

शुक्रवार को मंगोलपुरी इलाके में भी एक महिला ने चोटी कटने की शिकायत पुलिस से की है। पुलिस अब तक बेगमपुर की एक घटना में मामला दर्ज किया है और अन्य सभी मामले में विभिन्न पहलुओं को ध्यान में रखकर जांच कर रही है।

क्या कहते हैं मनोरोग विशेषज्ञ

चोटी कटने का सच जांच का विषय है, लेकिन ऐसी वारदात ने लड़कियों और महिलाओं को परेशान कर दिया है। हालांकि मनोरोग विशेषज्ञ इसे किसी मनोरोगी की शरारत ही मान रहे हैं। राजस्थान व हरियाणा के बाद दिल्ली के रोहिणी व बेगमपुरा जैसे इलाकों में चोटी कटने की वारदात के बाद उत्तरी दिल्ली के ग्रामीण इलाकों से लेकर शहरी क्षेत्रों में दहशत का माहौल है।

संयम से काम ले मीडिया 

बच्चों में भी मानसिक तनाव व खौफ है। रोहिणी स्थित डॉ.भीमराव अंबेडकर अस्पताल के मनोरोग विशेष डॉ.दिनेश त्यागी ने आरोपी के मॉस हिस्टीरिया बीमारी से ग्रसित होने की आशंका जाहिर की है। डॉ.त्यागी ने बताया कि हिस्टीरिया एक मनोरोग है और अपनी इच्छाएं पूरी करने की मानसिकता रखने वाले ग्रसित लोग ऐसी घटनाओं को अंजाम दे सकते हैं। उन्होंने कहा कि लोग सचेत रहें और बच्चों के मन से डर दूर करें। मीडिया को भी इस मामले में संयम से काम लेना चाहिए।

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